केला एक ऐसा फल हैं जो सबके द्वारा पसंद किया जाता हैं तथा यह पौष्टिक भी होता हैं। केला में खनिज, विटामिन , फाइबर इत्यादि प्रचुर मात्रा में पाएं जातें हैं तथा इसमें पोटेशियम भी पाया जाता हैं। पोटेशियम एक ऐसा तत्व हैं जो मानव शरीर में हृदय के स्वास्थ्य का ध्यान रखता हैं तथा केला खाने वाले व्यक्ति में हृदय संबंधी बीमारी होने का खतरा कम ही होता हैं।
केले की खेती की संपूर्ण जानकारी
इसका प्रयोग कई प्रकार के व्यंजनों में किया जाता हैं।
केले का प्रयोग कई प्रकार से किया जा सकता हैं जैसे कि इसे कच्चा खाया जाता हैं , इसकी सब्जी पकौड़े इत्यादि बनाए जाते हैं इसे पका के खाया जाता हैं इसका अचार बनाया जाता हैं इत्यादि।
केला खाने के फायदे और नुकसान
- इसे कच्चा या उबाल के खाया जा सकता हैं।
- इसे पका के खाया जा सकता हैं।
- इसकी सब्जी या पकौड़े बनाए जा सकते हैं।
- इसका अचार बनाया जा सकता हैं।
- इसका मिठाई बनाया जा सकता हैं।
- केले में विटामिन बी6 पाया जाता हैं जो हमारे शरीर को ऊर्जा देता हैं।
- केले में विटामिन सी पाया जाता हैं जो हमारे शरीर में एंटीऑक्सीडेंट का कार्य करता हैं।
- केले में फाइबर पाया जाता हैं जो पाचन में सहायक होता हैं।
- केले में पोटेशियम पाया जाता हैं जो हृदय स्वास्थ्य को बनाए रखता हैं।
वैसे तो केला एक पौष्टिक आहार हैं लेकिन इसके खाने के कुछ नुकसान भी है जैसे इसमें उपस्थित सोडियम से उच्च रक्तचाप को समस्या का होना , मोटापा होना ,ग्लूटिन के प्रति संवेदनशील व्यक्ति के लिए हानिकारक होता हैं।
- केले में उपस्थित ग्लूटिन ऐसे व्यक्ति के लिए नुकसानदायक हो सकता हैं जो इसके प्रति संवेदनशील हैं।
- अधिक मात्रा में सेवन से मोटापा हो सकता हैं।
- इसमें सोडियम पाया जाता हैं जिसका शरीर में मात्रा बढ़ने पर रक्तचाप बढ़ जाता हैं।
केले की खेती सबसे ज्यादा कहां होती है
केले के खेती के लिए कैसे जलवायु की आवश्यकता होती हैं?
उष्णकटिबंधीय या उपोष्ण कटिबंधीय जलवायु केले की खेती के लिए सबसे उपयुक्त होती हैं। ऐसा छेत्र जहा का तापमान 21 से 30 डिग्री के बीच रहता हैं वहा केले की खेती की जा सकती हैं।
इंडिया , चीन , थाईलैंड , इंडोनेशिया, फिलीपींस, कोलंबिया , ब्राजील , इक्वाडोर, केन्या इत्यादि देशों में केले की खेती व्यापक रूप से की जाती हैं क्योंकि यहां की जलवायु केले की खेती के लिए उपयुक्त होती हैं।
भारत और इंडोनेशिया विश्व में दो सबसे ज्यादा केला का उत्पादन करते हैं इसके बाद चीन ,ब्राजील ऐसे देश हैं जहा केले का उत्पादन व्यापक रूप से होता हैं।
- भारत में आंध्र प्रदेश तमिलनाडु तथा महाराष्ट्र केला उत्पादन के अग्रणी राज्य हैं।
- भारत के कुल केला उत्पादन का 80% आंध्र प्रदेश तथा तमिलनाडु में किया जाता हैं।
- पूरे विश्व में केला उत्पादन में भारत प्रथम स्थान पर हैं।
- भारत में आंध्र प्रदेश केला उत्पादन में प्रथम स्थान पर हैं।
केले की खेती में खाद का प्रयोग
केला की खेती के लिए मिट्टी कैसी होनी चाहिए?
नमकीन मिट्टी केला उत्पादन के लिए उपयुक्त नहीं होती हैं, बाकी हर प्रकार की मिट्टी में केला उत्पादन किया जा सकता हैं। काली मिट्टी केले की खेती के लिए सबसे उपयुक्त होती हैं क्योंकि काली मिट्टी में पोषक तत्वों की भरपूर मात्रा होती हैं तथा इसमें नमी भी ज्यादा समय तक बनी रहती हैं इसलिए काली मिट्टी में केले का उत्पादन भरपूर होता हैं। इसी प्रकार दोमट मिट्टी में भी केला का उत्पादन भरपूर मात्रा में होता हैं।
क्या लाल मिट्टी में केले का उत्पादन किया जा सकता हैं?
हां, लाल मिट्टी में केले का उत्पादन किया जा सकता हैं लेकिन इसके लिए कुछ बातो का ध्यान रखना आवश्यक हैं जैसे कि
समय समय पर पानी देना: लाल मिट्टी में नमी की कमी हो।सकती हैं इसलिए समय समय पर पौधे की सिंचाई करते रहे।
समय समय पर उर्वरक देना : लाल मिट्टी में उर्वरक की कमी होती हैं इसलिए समय समय पर आवश्यकता अनुसार उर्वरक देते रहे।
कीटनाशक:
लाल मिट्टी में कीट इत्यादि का प्रकोप ज्यादा रहता हैं इसलिए समय समय पर आवश्यकता अनुसार कीटनाशक का प्रयोग करते रहे।
केले के पौधों के बीच में कितना दूरी रखे?
केले के पौधे के आकार के आधार पर पौधे के बीच में 2 से 4 फीट का गैप दिया जाता हैं।
केले के पौधे कितने दिन में तैयार होते हैं?
केले का पौधा 10-12 महीने में तैयार हो जाता हैं।
केले की खेती का सही समय
केले का पौधारोपण कब करे?
जून से सितंबर तक का मौसम केले के पौधारोपण के लिए सबसे उपयुक्त होता हैं क्योंकि इस समय जलवायु गरम होती हैं तथा वायु में आर्द्रता भी मौजूद रहती हैं।
केले की खेती में फायदा या नुकसान
खेती एक ऐसा व्यवसाय हैं जिसके बारे में अनुमान लगाना काफी मुश्किल होता हैं लेकिन फिर भी यदि सबकुछ सही से रहता हैं तो केला बाजार में 15 रुपए प्रति किलो से 20 प्रति किलो तक बिक जाता हैं तो यदि आपके खेत में केले का उत्पादन अच्छा होता हैं और सही समय पर होता हैं तो यह एक फायदेमंद व्यवसाय बन सकता हैं।
निष्कर्ष:
केले की खेती एक कमर्शियल खेती हैं और यदि आपको इसकी खेती की अच्छे से जानकारी हैं तथा आपके यहां की मिट्टी तथा जलवायु केले की खेती के लिए उपयुक्त हैं तथा आपके पास आमदनी का अन्य माध्यम भी हैं तो केले की खेती आपको एक मोटा मुनाफा दे सकता हैं।
FAQs
प्रश्न1. केले की खेती का सही समय?
उत्तर: जून से सितंबर तक का मौसम केले के पौधारोपण के लिए सबसे उपयुक्त होता हैंI
प्रश्न2. केले की फसल कितने दिन में तैयार होती है?
उत्तर: केले का पौधा 10-12 महीने में तैयार हो जाता हैं।
प्रश्न3. केले की खेती किस महीने में होती है?
उत्तर: जून से सितंबरI
प्रश्न4. केले की खेती सबसे ज्यादा कहां होती है?
उत्तर: केला उत्पादन के मामले में आंध्र प्रदेश भारत के सभी राज्यों में सबसे आगे हैI
प्रश्न5. केले की खेती में खाद का प्रयोग?
उत्तर: रोपण के लिए भूमि तैयार करने में 25 टन गोबर या खाद का उपयोग किया जाता है, और उस समय 15 किलोग्राम ग्राम का उपयोग किया जाता है। प्रत्येक पौधे को आवश्यक मात्रा में फॉस्फेट एवं पोटाश, 25 ग्राम कार्बोक्यूरान तथा गोबर की खाद उपलब्ध कराने के बाद ही रोपाई करें।